कोरोना वायरस के प्रकोप में, हम औरतें कैसे, इस मुश्किल का सामना करते हुए भी, एक दूसरे का समर्थन कर सकती हैं?  जानने के लिए चेक करें हमारी स्पेशल फीड!

मुझे देश की माटी से प्यार है-मेरी आन है, मेरी शान है, मेरा देश मेरी जान है। 

दुश्मनों ना आना पास, क्या तुम्हें मौत का इंतज़ार है, कस कर कमर को खड़े हैं वो, सरहद पर सब तैयार हैं। %

दुश्मनों ना आना पास, क्या तुम्हें मौत का इंतज़ार है, कस कर कमर को खड़े हैं वो, सरहद पर सब तैयार हैं। 

लिया जन्म मैंने इस धरा पर,
यही मेरा संसार है,
है कोटि-कोटि नमन इसे,
मुझे देश की माटी से प्यार है।

डरते ना थे सीमा पर जो,
वो लाल रंग उनका लहू,
कैसे मैं उनको भूल जाऊँ,
कब तक मैं यूँ चुप सी रहूँ।

दी जिन्होंने देश पर कुर्बानियाँ,
वो गौरव, वही अभिमान है,
मेरी आन है, मेरी शान है,
मेरा देश मेरी जान है।

है भाईचारे की मिसाल ये,
हर दिन यहाँ त्यौहार है,
मेरी सरज़मीं भारत मेरा,
मुझे देश की माटी से प्यार है।

दुश्मनों ना आना पास,
क्या तुम्हें मौत का इंतज़ार है,
कस कर कमर को खड़े हैं वो,
सरहद पर सब तैयार हैं।

ना मोह उनको मौत से है,
ये वतन ही उनका यार है,
है देश उनकी महबूबा,
उन्हें देश की माटी से प्यार है।

है रोम-रोम जिसका ऋणी,
नस-नस में जो संचार है,
नमन है उस मातृभूमि को,
झुकता ये सिर बार-बार है।

लहराऊँ विजयी विश्व तिरंगा मेरा,
हाँ, मुझको ये अधिकार है,
हर साँस में है आजादी यहाँ,
मुझे देश की माटी से प्यार है।

स्वरचित और मौलिक-
मनीषा दुबे | (सिंगरौली, म.प्र.)

About the Author

1 Posts | 3,856 Views
All Categories